मेरे उपवन में
मेरे उपवन में गुलाब खिला हैं |
और मैंने उसे तुम्हारी मुस्कान
समझ सहेज रखा हैं ।माली ने उपवन के गुलाब
को तोड़ लिया है, किन्तु
मेरे हृदय में सहेज रखी
तुम्हारी गुलाबी मुस्कान
अम्लान हैं ।
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- स्मृतियाँ
मेरे उपवन में गुलाब खिला हैं |
और मैंने उसे तुम्हारी मुस्कान
समझ सहेज रखा हैं ।माली ने उपवन के गुलाब
को तोड़ लिया है, किन्तु
मेरे हृदय में सहेज रखी
तुम्हारी गुलाबी मुस्कान
अम्लान हैं ।